69 हजार शिक्षक भर्ती धांधली मामले में वांछित नकल माफिया चंद्रमा यादव आखिरकार पकड़ा गया।
एसटीएफ ने सोमवार को उसे हिंदू हॉस्टल चौराहे के पास से गिरफ्तार किया।
एसटीएफ अफसरों का दावा है कि योग्यता में उसने परीक्षा से पहले अपने कॉलेज से प्रश्नपत्र सरगना केएल पटेल तक पहुंचाने की बात कबूल की है।
शिक्षक भर्ती धांधली मामले की जांच में जुटी एसटीएफ लंबे समय से नकल माफिया चंदमा की तलाश में जुटी थी।
एसटीएफ अफसरों के मुताबिक, हस्तक्षेप में उन्होंने बताया कि सोरांव में मुकदमा पंजीकृत होने के बाद वह फरारी के दौरान लखनऊ व इटावा में रहा।
वह धूमनगंज में पंचम लाल आश्रम इंटर कॉलेज का संचालन करता है। जिसमें वह अपनी उऊंची पकड़ के कारण लगभग सभी प्रतियोगी परीक्षाओं का केंद्र बनवाता था। ज्यादा पैसे कमाने के चक्कर में ही वह केएल पटेल से जुड़ गया था।
उसके स्कूल मेन्ड सेंटर होने के कारण प्रश्रपत्र एक दिन पहले ही आ जाता था।
बंद लिफाफों की सील तोडक़र प्रश्रपत्रों की फोटो खींचकर वह व्हाट्सएप से सहयोगी ललित त्रिपाठी के माध्यम से पटेल तक पहुँचता थी जिसके एवज में उसे 5-6 लाख रुपये मिलते थे।
बता दें कि इसी साल जनवरी में उसे टीईटी का पेपर आउट कराने के मामले में सैकड़ों मोबाइल संग गिरफ्तार किया गया था। एएसपी नीरज पांडेय ने बताया कि आरेापी को जेल भेज दिया गया है।
मामले में तीन अभियुक्तों की गिरफ्तारी शेष है जिनकी तलाश की जा रही है।
चार महीने तक छकाने के बाद हाथ आया
चंद्रमा चार महीने तक छकाने के बाद एसटीएफ के हाथ आया। चार जून को मुकदमा दर्ज होने के बाद से ही वह फरार हो गया था। जिसके बाद उसके खिलाफ गैरजमानती वारंट के साथ ही कुर्की की कार्रवाई भी शुरू कर दी गई थी।
इसी तरह एसटीएफ अफसरों का दावा है कि कुर्की की कार्रवाई शुरू होने के बाद ही वह दबाव में आई। केस के सिलसिले में वह शहर आया और इसी दौरान सटीक सूचना पर उसे गिरफ्तार किया गया।
No comments:
Post a Comment